राजस्थान के इस गांव में लोग नहीं बनाते दो मंजिला मकान, 700 साल के श्राप का डर आज भी कायम

Chhattisgarh Crimes

जयपुर। भारत देश विविधताओं से भरा हुआ है. यहां हर शहर, गांव क्षेत्र, गली मोहल्ले और कस्बों से आपको अलग अलग मान्यताएं, धारणाएं और रहस्यपूर्ण तथ्य सुनने को मिलेंगे. राजस्थान की राजधानी जयपुर शहर अपनी खूबसूरती के लिए जाना जाता है. लोग इसे गुलाबी शहर (पिंक सिटी) कहते हैं. लेकिन इस शहर से लगभग 200 किलोमीटर दूर चुरू जिले की सरदारशहर तहसील के उडसर गांव में आपको कोई भी दो मंजिला मकान देखने को मिलेगा. इसका कारण जान आप हैरान हो जाएंगा.

दरअसल इस गांव को 700 साल पहले ऐसा श्राप मिला था कि जो भी यहां दो मंजिला मकान बनाएगा, उसके परिवार का विनाश हो जाएगा. अब आप इसे आस्था कहिए या डर. लेकिन इस श्राप के कारण ही यहां कोई भी दो मंजिला मकान नहीं बनवाता. सात सदी पहले मिले इस श्राप के कारण यहां के ग्रामीण अपने गांव को शापित मानते हैं और 2 मंजिला घर नहीं बनवाते. आइये जानते हैं क्यों शापित माना जाता है ये गांव और क्या है इसकी कहानी.

ये है श्राप की कहानी-

ये कहानी लगभग 700 साल पुरानी है. कहा जाता है कि कि सात सदी पहले गांव में भेमिया नाम का एक व्यक्ति रहता था. एक दिन गांव में कुछ चोर आ गए हैं. जब भेमिया को पता चला कि चोर गांव वालों के पशुओं को चुरा कर ले जा रहे हैं तो वह चोरों से अकेले ही लड़ गया. चोरों ने भेमिया को पीट कर बुरी तरह से घायल कर दिया और वो लहूलुहान हो गया. भेमिया चोरों से बचने के लिए अपने ससुराल गांव अस्पलसर पहुंच गया और घर की दूसरी मंजिल पर छिप गया. चोरों ने उसका पीछा किया और उसे वहां से भी पकड़ लिया. घायल और लहूलुहान होने के बावजूद भी भेमिया उनके लड़ता रहा और अंत में चोरों ने भेमिया का गला काट दिया.

भेमिया का धड़ उडसर गांव में जा गिरा. भेमिया की पत्नी को जब पति के बारे में पता चला तो उसने क्रोध में आकर गांव वालों को ही श्राप दे दिया कि अगर कोई भी व्यक्ति इस गांव में अपने घर को दूसरी मंजिल तक बनाएगा उसके परिवार का विनाश हो जाएगा. इस घटना के बाद गांव में भेमिया का मंदिर बनाया गया और यहां पूरी आस्था के साथ उनकी पूजा की जाती है. गांव में आज तक किसी ने भी दो मंजिला घर नहीं बनवाया है. वैसे इस बात का कोई प्रामाणिक सबूत तो नहीं मिलता है. लेकिन, गांव में दो मंजिला घर न होना इस बात का प्रमाण है कि इस घटना या इस कहानी को लेकर लोगों में डर और आस्था जरूर है.

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