नई दिल्ली। समाजवादी पार्टी और अखिलेश यादव दोनों को ही आज भारतीय जनता पार्टी ने बड़ा झटका दिया है। भगवा पार्टी ने मुलायम सिंह यादव के घर में ही सेंध लगा दिया है। योगी आदित्यनाथ और उनकी पार्टी ने आपर्णा यादव को अपने पाले में शामिल कर लिया है।
अपर्णा यादव के समाजवादी पार्टी का साथ छोड़ने और बीजेपी का दामन थामने के पीछे लखनऊ सीट को बड़ा कारण बताया जा रहा है। अपर्णा इस सीट से 2017 का विधानसभा चुनाव लड़ीं थी। उन्हें 61 हजार से अधिक वोट मिले थे। उन्होंने 2022 में भी इस सीट के लिए दावेदारी पेश की थी।
सूत्रों से मिल रही जानकारी के मुताबिक, अपर्णा यादव को अखिलेश यादव ने लखनऊ कैंट से टिकट देने से इनकार कर दिया। इसके बाद उन्होंने बीजेपी जॉइन करने का फैसला किया।
बीजेपी का गढ़ है लखनऊ कैंट
लखनऊ कैंट को बीजेपी का गढ़ माना जाता है। 2017 के विधानसभा चुनाव में कांग्रेस से आई रीता बहुगुणा जोशी ने बीजेपी के टिकट पर चुनाव लड़ा था। वह यहां से विधायक चुनी गईं। 2019 का लोकसभा चुनाव जीतने के बाद उन्होंने इस्तीफा दे दिया। इसके बाद बीजेपी ने उपचुनाव में सुरेश तिवारी को मैदान में उतारा, जो 1996, 2002 और 2007 में जीत का परचम लहरा चुके हैं। आपको बता दें कि 2012 में रीता बहुगुणा जोशी बतौर कांग्रेस उम्मीदवार चुनाव जीती थी।
बीजेपी ने रीता के बेटे को टिकट देने से किया मना!
खबर आ रही है कि इस सीट से रीता बहुगुणा जोशी अपने बेटे के लिए टिकट मांगा है। हालांकि मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, पार्टी ने टिकट देने से इनकार कर दिया है। ऐसे में लखनऊ कैंट सीट से अपर्णा यादव को बीजेपी द्वारा टिकट देने की संभावना बढ़ गई है। आपको बता दें कि डिप्टी सीएम दिनेश शर्मा के भी इसी सीट से चुनाव लड़ने के कयास लगाए जा रहे थे। हालांकि पहली लिस्ट में उनका नाम नहीं था। शर्मा फिलहाल विधान परिषद सदस्य हैं।
बीजेपी में शामिल होने पर क्या बोली अपर्णा?
दिल्ली के भाजपा दफ्तर में पार्टी से जुड़ने के मौके पर अपर्णा यादव ने कहा कि मैं हमेशा से प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से प्रभावित थी। मेरे चिंतन में राष्ट्र सबसे पहले है। मुझे लगता है कि मेरे लिए राष्ट्र सबसे पहले है। मैं अब राष्ट्र की आराधना के लिए निकली हूं। मैं पीएम नरेंद्र मोदी की कार्यशैली से प्रभावित रही हूं। मैं यही कहूंगी कि अपनी क्षमता के मुताबिक जो भी कर सकूंगी, वह करूंगी। बता दें कि अपर्णा यादव लंबे समय से पीएम नरेंद्र मोदी, भाजपा और यूपी के सीएम योगी आदित्यनाथ की तारीफ करती रही हैं।