मामला गांधीनगर थाना क्षेत्र का है। जानकारी के मुताबिक, रंजित एक्का गंगापुर के रहने वाले हैं। वह CISF से रिटायर्ड हुए हैं। साल 2020-21 में इलेक्ट्रिक स्कूटी की एजेंसी के लिए चंडीगढ़ की ओजोमो ऑटोमोबाइल्स प्राइवेट लिमिटेड से संपर्क किया।
ऑटोमोबाइल कंपनी के डायरेक्टर रमा शर्मा ने एजेंसी खोलने के लिए प्रक्रिया बताई। एजेंसी खोलने के लिए रंजित एक्का ने कैनरा बैंक से 45 लाख रुपए का लोन लिया था।
40 लाख जमा कराए, नहीं मिली एजेंसी
रंजित एक्का ने कंपनी की बताई गई सभी प्रक्रिया पूरी की और सिक्योरिटी डिपॉजिट के रूप में किश्तों में 40 लाख रुपए जमा कराए। उन्होंने बौरीपारा इलाके में 3 साल पहले 15 हजार रुपए मासिक की दर पर दुकान भी लिया। किराए नामे के पेपर भी कंपनी को भेजे गए।
करीब 4 सालों तक चले प्रोसेस के बाद भी इलेक्ट्रिक स्कूटी की एजेंसी नहीं मिली। रंजित एक्का ने ओजोमो ऑटो मोबाइल्स के संचालक से अपने पैसे वापस मांगे। कंपनी के संचालक ने पैसे भी वापस करने से इनकार कर दिया। इससे परेशान होकर रंजित एक्का ने मामले की शिकायत थाने में दर्ज कराई।
बैंक से जमीन नीलाम करने का नोटिस
रिटायर्ड जवान रंजित एक्का ने अपनी जमीन बंधक रखकर बैंक से 45 लाख रुपए का लोन लिया था। वह लोन की किश्त भी जमा नहीं कर पा रहे हैं। कैनरा बैंक ने उसके जमीन को नीलाम करने का नोटिस जारी कर दिया है।
रंजित एक्का ने बताया कि उसने एजेंसी के लिए जो दुकान किराए पर लिया था, उसका वे एक लाख 80 हजार रुपए प्रतिवर्ष किराया भी दे रहे हैं। 3 सालों में वे 5.50 लाख रुपए का किराया दे चुके हैं। इसका नुकसान अलग से उठाना पड़ा है।