छत्तीसगढ़ के दुर्ग में केरल की 2 कैथोलिक ननों की गिरफ्तारी को लेकर दिल्ली में संसद के बाहर प्रदर्शन हुआ

Chhattisgarh Crimesछत्तीसगढ़ के दुर्ग में केरल की 2 कैथोलिक ननों की गिरफ्तारी को लेकर दिल्ली में संसद के बाहर प्रदर्शन हुआ है। मिशनरी सिस्टर्स को धर्मांतरण और मानव तस्करी के आरोप में पकड़ा गया है। गिरफ्तारी के विरोध में सोमवार को केरल से विपक्ष के सांसदों ने संसद परिसर में विरोध प्रदर्शन किया।

लोकसभा में नेता प्रतिपक्ष राहुल गांधी ने सोशल मीडिया साइट ‘एक्स’ पर लिखा- छत्तीसगढ़ में 2 कैथोलिक ननों को उनकी आस्था के कारण निशाना बनाकर जेल भेज दिया गया। यह न्याय नहीं, बल्कि भाजपा-RSS का भीड़तंत्र है।

यह एक खतरनाक पैटर्न को दर्शाता है। ये बीजेपी के शासन में अल्पसंख्यकों का सिस्टेमैटिक उत्पीड़न है। UDF सांसदों ने संसद में विरोध प्रदर्शन किया। हम चुप नहीं बैठेंगे। धार्मिक स्वतंत्रता एक संवैधानिक अधिकार है। हम ननों की तत्काल रिहाई और इस अन्याय के लिए जवाबदेही की मांग करते हैं।

वहीं इस मामले में दुर्ग रेलवे स्टेशन से बरामद की गई युवती की मां ने बताया कि- ‘हमने अपनी बेटी को खुद भेजा था, अपने पैर पर खड़ा होने के लिए।’ जबकि युवती के जीजा ने बताया था कि मैंने कहा था किसी पर विश्वास करके ऐसे नहीं भेजना, लेकिन मेरी बात किसी ने नहीं मानी।

वहीं कांग्रेस सांसद केसी वेणुगोपाल ने कहा, ‘हमने ननों की हिरासत के मुद्दे पर केंद्रीय गृह मंत्री और छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री को पत्र लिखा है। वे केरल की रहने वाली हैं, लेकिन छत्तीसगढ़ में काम कर रही हैं।’

उन्होंने कहा कि ‘वे नियमों के तहत 3 युवतियों को नौकरी के लिए ले जा रही थीं, लेकिन वहां की (छत्तीसगढ़) सरकार और बजरंग दल ने आरोप लगाया कि यह तस्करी का मामला है और वे युवतियों को धर्मांतरण के लिए ले जा रही थीं। यह पूरी तरह से झूठ था।’

केसी वेणुगोपाल ने कहा- ‘ननों ने पुलिस को बताया कि हम उन्हें कानूनी तौर पर ले जा रहे हैं और हमारे पास उनके माता-पिता की अनुमति है, लेकिन पुलिस ने उनकी एक नहीं सुनी। भाजपा शासित राज्यों में अल्पसंख्यकों पर अत्याचार दिन-ब-दिन बढ़ते जा रहे हैं’।

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