आरक्षण और धर्मांतरण के मुद्दे पर सीएम हाउस घेरने जा रहे भाजपा नेताओं को पुलिस ने किया गिरफ्तार

Chhattisgarh Crimes

रायपुर। छत्तीसगढ़ में आरक्षण लागू करने और धर्मांतरण के खिलाफ भाजपा नेताओं ने बुधवार को कोहरे और बारिश के बीच डॉ. भीमराव अंबेडकर चौक पर उनकी प्रतिमा के नीचे धरना दिया। इसके बाद पूर्व सीएम डॉ. रमन सिंह, प्रदेश अध्यक्ष अरुण साव, नेता प्रतिपक्ष नारायण चंदेल, धरमलाल कौशिक, बृजमोहन अग्रवाल, अजय चंद्राकर आदि बड़े नेताओं के साथ बड़ी संख्या में कार्यकर्ता सीएम हाउस का घेराव करने के लिए निकले। पुलिस ने उन्हें मल्टी लेवल पार्किंग के पास रोकने की कोशिश की, लेकिन वे घेरा तोड़कर आगे बढ़ने लगे। हालांकि आगे बड़ी संख्या में मौजूद पुलिस बल ने सभी को गिरफ्तार कर लिया।

भाजपा प्रदेश अध्यक्ष अरुण साव ने धरने को संबोधित करते हुए कहा, जो लोग ओबीसी और फिर आदिवासी आरक्षण के खिलाफ कोर्ट गए, भूपेश बघेल सरकार उन्हें पुरस्कृत कर रही है। इससे इस सरकार की असलियत पहले ही सामने आ चुकी है। पूरा प्रशासनिक तंत्र लगा कर जन अधिकार रैली का आयोजन किया, लेकिन पूरी कुर्सियां खाली रही। छत्तीसगढ़ की जनता ने उनको नकार दिया। भूपेश बघेल और उनकी पार्टी का दोहरा चरित्र है कि वे खुद जनता का अधिकार छीनते हैं और तथाकथित जन अधिकार रैली के बहाने संविधान विरोधी, संवैधानिक पद विरोधी मार्च निकालते हैं। जनता यह इतिहास कैसे भूल सकती है कि कांग्रेस ने संविधान निर्माता बाबा साहब अंबेडकर को धन-बल लगाकर चुनाव में हरवाया था।

भाजपा के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष व पूर्व सीएम डॉ. रमन सिंह ने कहा, आज सड़क पर हम इसलिए बैठे हैं, क्योंकि भूपेश बघेल ने छत्तीसगढ़ को छला है। आरक्षण पर तथ्यों को तोड़-मोड़ कर प्रस्तुत किया है। ऐसा विधेयक पेश किया है कि असंवैधानिक होने के कारण संवैधानिक दिक्कतों में फंस गया है। भूपेश बघेल संवैधानिक पदों का अपमान कर रहे हैं। आज छत्तीसगढ़ आरक्षण ही नहीं, धर्मांतरण के नाम से भी उद्वेलित है। चंगाई सभा के नाम से होने वाले आयोजनों में आदिवासियों को धर्मांतरण के जाल में फंसाया जा रहा है। दुर्भाग्य की बात है कि जिनके ऊपर आदिवासी संरक्षण की जिम्मेदारी है, वही आदिवासी अस्मिता का हरण करा रहे हैं।