गरियाबन्द। 20 दिन जेल फिर जमानत पर चल रहे महिला समूह से रंगदारी का आरोपी ब्लेकमेलर किरीट ठक्कर ,अब स्वास्थ्य कार्यकर्ता से किया मारपीट। नाराज स्वास्थ्य संयोजक कर्मचारी संघ ने कलेक्टर, एसपी को ज्ञापन सौप जिलाबदर की कार्यवाही की मांग किया है।
मामला शनिवार की दोपहर का हैं, गरियाबन्द की मजरकटटा में पदस्थ महिला स्वास्थ्य सयोंजक द्वारा मजरकट्टा में लगने वाले स्वास्थ्य केम्प की तैयारी को लेकर ज़िला अस्पताल जा रही थी उसी दौरान अपने मोबाइल रिचार्ज करवाने पुराने एसपी ऑफिस के पास मौजूद एक शॉप में पहूंची थी। थोड़ी देर बाद इसी शॉप में कथित पत्रकार किरीट ठक्कर भी पहूचा, मोबाइल रिचार्ज कराने में व्यस्त महिला कर्मचारी के साथ छेड़छाड़ करने लगा जिसका महिला कर्मचारी ने विरोध किया जिस पर वह अश्लील गाली गलौच करने लगा तब महिला के द्वारा पुलिस बुलाने की बात कहते हुए आरोपी किरीट का कॉलर पकड़ लिया, उसी दौरान आरोपी ने अपने बेटे दिशांत को बुला लिया और दोनो ने महिला के साथ मारपीट किया। जिससे महिला कर्मचारी को कई गम्भीर चोंटे आई है।पीड़िता ने मामले की शिकायत सिटी कोतवाली में किया ,जिसके बाद थाना प्रभारी वेदमती दरियो ने मामले में किरीट ठक्कर व उसके बेटे निशान्त के खिलाफ आईपीसी की धारा 354,354 ग,354 घ (34) के तहत मामला पंजीबद्ध कर लिया है।रिपोर्ट दर्ज होते ही आरोपी किरीट व उसका बेटा दोनों फरार हो गए है।
कर्मचारी संघ ने किया जिलाबदर की मांग
स्वास्थ्य सयोंजक कर्मचारी संघ छतीसगढ़ के गरियाबन्द इकाई अध्यक्ष डी के पडोति के नेतृत्व में संघ के प्रतिनिधि मण्डल ने कलेक्टर व एसपी के नाम ज्ञापन सौप ऑन ड्यूटी कर्मी के साथ हरकत करने वाले आरोपी के खिलाफ कड़ी कार्यवाही की मांग किया है।संघ के महिला जिला अध्यक्ष सुरेखा तिवारी ने अफसरों को बताया कि असमाजिक तत्व किरीट के खिलाफ सिटी कोतवाली के अलावा जिले के अन्य थानों में मामले दर्ज है।आये दिन महिलाओं के प्रति दुर्ब्यवहार के मामले सामने आते रहे है।कुछ मामलों को अपने पत्रकार होने का धौंस दिखाकर इस ब्लेकमेलर द्वारा दबाव दिया गया है।पूर्व में भी पत्रकार महिलाओं के साथ मारपीट के मामले सामने आ चुके है।ऐसे आसामाजिक तत्व के खिलाफ जिलाबदर की कार्यवाही की मांग किया गया है।
देवभोग में अफसर बन कर लूटा था महिला समूह को- किरीट ठक्कर अपने कथित बास के साथ 5 अक्टूबर 2019 को डोहेल में रेडी टू ईट संचालित करने वाले समूह के संचालन स्थल पर पहूचे, आरोपियो ने अपने आप को अफसर बता कर प्लास्टिक पन्नी में अनियमितता बरतना कह कर पहले महिलाओं को धमकाया,फिर अपने आदतन करतूतों के मुताबिक मुँहफाड कर 30हजार रुपये की मांग किया।फिर 20 हजार रुपये में मामला सलटाने के लिए सहमत हो गये।जागरुक महिला समूहो ने ब्लैकमेलरों को रुपये देने के बजाए मामले की शिकायत लेकर थाने पहूच गए।मामले में जांच के बाद पुलिस ने आरोप सही पाए जाने पर फरवरी 2020 में आरोपी किरीट ठक्कर, दिनेश सोनी रायपुर व एक अन्य के खिलाफ भादवी की धारा 170,384 (34) के तहत मामला पंजीबद्ध किया।मामले में किरीट ठक्कर को 20 दिन जेल में रहना पड़ा था।बाकी लोग जमानत लेने में कामयाब हुई।