केंद्र सरकार ने आईआईटी भिलाई के चरण-बी के लिए 2,257.55 करोड़ रुपए स्वीकृत किए हैं। इसमें से 1,092 करोड़ रुपए भवन और परिसर के निर्माण पर व्यय होंगे। इस विस्तार के बाद परिसर का निर्मित क्षेत्र 1,51,343 वर्ग मीटर बढ़ जाएगा। तीसरे फेस के परिसर में छत्तीसगढ़ का पहला रिसर्च पार्क भी बनेगा।
ये सुविधाएं होंगी
IIT-B में नए इंजीनियरिंग और विज्ञान विभाग, अत्याधुनिक प्रयोगशालाएं, आईसीटी सक्षम व्याख्यान कक्ष, प्रोटोटाइप लैब और आधुनिक उपकरण शामिल होंगे। इसके अतिरिक्त, छात्रावास, मेस, इनडोर खेल परिसर,
ओपन एयर थिएटर, क्रिकेट-फुटबॉल-हॉकी मैदान, टेनिस कोर्ट, आवासीय भवन, स्वास्थ्य केंद्र और शॉपिंग कॉम्प्लेक्स भी विकसित किए जाएंगे। छात्रों की संख्या भी वर्तमान 1,500 से बढ़कर 3,000 हो जाएगी।
इस समारोह का सीधा प्रसारण आईआईटी भिलाई परिसर के नालंदा व्याख्यान कक्ष से किया गया। इस अवसर पर राज्य के तकनीकी शिक्षा मंत्री गुरु खुशवंत साहेब और अहिरवाड़ा विधायक डोमनलाल कोर्सेवाड़ा भी उपस्थित थे।
96 करोड़ रुपए की लागत से बनेगा रिसर्च पार्क
चरण-बी के तहत परिसर में 96 करोड़ रुपए की लागत से एक रिसर्च पार्क का निर्माण किया जाएगा। यह छत्तीसगढ़ का पहला रिसर्च पार्क होगा, जिसका मुख्य उद्देश्य उद्योग और अकादमिक जगत के बीच सहयोग को बढ़ावा देना तथा अत्याधुनिक प्रौद्योगिकी विकास के लिए एक पारिस्थितिकी तंत्र तैयार करना है।
इस परियोजना को अक्टूबर 2028 तक पूरा करने का लक्ष्य निर्धारित किया गया है।
आईआईटी भिलाई के तीन अलग-अलग फेस
आईआईटी भिलाई की स्थापना साल2016 में हुई थी। तब सरकार ने इसके चरण-ए के लिए 1,090.17 करोड़ रुपए स्वीकृत किए थे। इसी चरण के तहत दुर्ग जिले के कुटेलभाटा में 1,34,450 वर्ग मीटर क्षेत्र में एक स्मार्ट और पर्यावरण अनुकूल परिसर विकसित किया गया था।
प्रधानमंत्री मोदी ने 20 फरवरी 2024 को इस संस्थान को राष्ट्र को समर्पित किया था। परिसर को जीआरआईएचए पुरस्कार सहित कई राष्ट्रीय सम्मान प्राप्त हुए हैं।