छत्तीसगढ़ के बालोद जिले में बकरियों को बचाते हुए एक चरवाहे की ट्रेन से टकराकर मौत

Chhattisgarh Crimesछत्तीसगढ़ के बालोद जिले में बकरियों को बचाते हुए एक चरवाहे की ट्रेन से टकराकर मौत हो गई। हादसे के वक्त उसकी पत्नी चीख-चीख कर उसे पटरी से हटने को कहती रही, लेकिन वह अपनी बकरियों को बचाने की कोशिश में इंजन से टकरा गया। पत्नी सब कुछ आंखों के सामने देखती रही, लेकिन अपने पति को नहीं बचा सकी।

पूरा मामला दल्लीराजहरा थाना क्षेत्र के ग्राम पथराटोला का है। गांव के चरवाहा अनूप कुमार हरेंद्र (53) अपनी पत्नी झमिक बाई के साथ गांव से लगे जंगल की ओर बकरियां चराने निकले थे। इस दौरान दोनों पति-पत्नी रेलवे ट्रैक पार कर रहे थे। बकरियां भी उनके साथ थीं। कुछ बकरियां ट्रैक पर चढ़ गईं और सामने से ट्रेन आती देख बेकाबू हो गईं।

पटरी से हटने पत्नी चिल्लाती रही, चरवाहा बकरियों को बचाने जान गंवा बैठा

पुलिस के अनुसार अनूप की पत्नी झमिक बाई बार-बार चिल्ला रही थी कि वह पटरी से हट जाए। लेकिन अनूप बकरियों को बचाने के लिए रेलवे ट्रैक पर दौड़ पड़ा। तभी तेज रफ्तार से आ रही ट्रेन ने उसे चपेट में ले लिया। हादसा इतना भयावह था कि मौके पर ही उसकी मौत हो गई। पत्नी सब कुछ अपनी आंखों के सामने देखती रही। लेकिन कुछ भी नहीं कर सकी।

पत्नी की गोद में तोड़ा दम, उठाने की कोशिश करती रही लेकिन बचा न सकी

ग्रामीणों के अनुसार हादसे के बाद झमिक बाई की चीख-पुकार सुनकर आस-पास के लोग मौके पर पहुंच गए। झमिक अपने पति अनूप के सिर को गोद में लेकर बार-बार उठाने की कोशिश करती रही। लेकिन तब तक बहुत देर हो चुकी थी।

सूचना मिलने पर दल्लीराजहरा पुलिस मौके पर पहुंची। थाना प्रभारी रविशंकर पांडेय ने बताया कि शव का पोस्टमॉर्टम कर परिजनों को सौंप दिया गया है। जिसका अंतिम संस्कार उनके गृह ग्राम पथराटोला में कर दिया गया है। मामले में आगे की कार्रवाई की जा रही है।

Exit mobile version