रायपुर। राजधानी में सैकड़ों लोगों से 10 करोड़ रुपये से अधिक की ठगी कर आठ साल से फरार ग्रिंडले फारेस्ट इंडिया प्राइवेट लिमिटेड चिटफंड कंपनी के डायरेक्टर स्वर्ण सिंह को पंजाब के मजीठा से गिरफ्तार कर पुलिस लाई है। आरोपित ने रायपुर के बांसटाल इलाके में कंपनी का कार्यालय खोलकर रायपुर और आसपास के इलाके के लोगों को अपना शिकार बनाया था। उसके खिलाफ राजधानी के कई थानों में धोखाधड़ी का मामला दर्ज है।
अलखराम साहू समेत कई अन्य पीड़ितों ने वर्ष 2015 में गोलबाजार थाने में ठगी की शिकायत दर्ज कराई थी। इसमें उन्होंने बताया था कि ग्रिंडले फारेस्ट इंडिया प्राइवेट लिमिटेड कंपनी और ग्रींडलेस प्रोजेक्ट एवं डेवलपर्स लिमिटेड के डायरेक्टर आलोक कुमार भद्रा, संतोष सिकंदर, स्वर्ण सिंह और अन्य कर्मचारियों ने चिटफंड कंपनी में पैसा निवेश करने पर तीन गुना रकम लौटाने का झांसा दिया था। उनके झांसे में आकर पीड़ितों ने दस करोड़ रुपये से अधिक जमा कर दिया था।
जब रकम लौटाने की बारी आई तो कंपनी के डायरेक्टर समेत अन्य कर्मचारी फरार हो गए। इस मामले में पुलिस ने धोखाधड़ी, द प्राइज चिट्स एंड मनी सर्कुलेशन स्कीम (पाबंदी) अधिनियम की धारा 10 के तहत मामला दर्ज किया था। इस मामले में आलोक कुमार भद्रा और एजेंट कृष्णा प्रसाद चंद्राकर को गिरफ्तार कर जेल भेजा जा चुका है।
लोकेशन ट्रेस कर पहुंची टीम
एंटी क्राइम एंड साइबर यूनिट व गोलबाजार थाने की संयुक्त टीम ने फरार आरोपितों का लोकेशन ट्रेस किया। स्वर्ण सिंह के पंजाब के अमृतसर शहर में होने की जानकारी मिलते ही पुलिस टीम अमृतसर पहुंची। इस दौरान मेडिकल इन्क्लेव, कोठी नंबर 415, थाना मजीठा, अमृतसर निवासी स्वर्ण सिंह (55) को मजीठा रोड स्थित मेडिकल एवेन्यू से गिरफ्तार कर लिया गया। उसे ट्रांजिट रिमांड पर रविवार को रायपुर लाया गया है।