वर्धा स्थित महात्मा गांधी के आश्रम की तर्ज पर नवा रायपुर में विकसित होगा सेवाग्राम

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रायपुर। छत्तीसगढ़ सरकार वर्धा स्थित महात्मा गांधी के आश्रम “सेवाग्राम’ जैसा ही एक आश्रम नवा रायपुर में बनवाने की तैयारी में है। मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने इसके लिए 75 से 100 एकड़ जमीन चिह्नित करने का निर्देश दिया है। कहा जा रहा है कि यह आश्रम, आजादी की लड़ाई के मूल्यों, सिद्धांतों, आदर्शों और महात्मा गांधी की ग्राम-स्वराज की संकल्पना को बचाए रखने के विचार के साथ स्थापित किया जा रहा है।

मुख्यमंत्री ने सोमवार को अधिकारियों से चर्चा की। खास बात यह है कि मुख्यमंत्री ने सभी प्रकार के ग्रामीण कारीगरों के प्रशिक्षण की व्यवस्था करने को कहा है। ऐसा इसलिए, ताकि ग्रामीण अर्थव्यवस्था को सुदृढ़ करने एवं आत्मनिर्भर-ग्राम की कल्पना को साकार किया जा सके। मुख्यमंत्री ने 02 अक्टूबर से पहले इसकी कार्ययोजना पेश करने के निर्देश अफसरों को दिए हैं।

चूना-मिट्‌टी से होगा सेवाग्राम का निर्माण

अधिकारियों ने बताया, नवा रायपुर में प्रस्तावित सेवाग्राम में अतिथि विषय-विशेषज्ञों द्वारा मार्गदर्शन दिया जाएगा। साथ ही वहां वृद्धाश्रम और समाज के कमजोर तबकों के लिए स्कूल भी स्थापित किया जाना है। इसके उद्देश्यों में पर्यटन के अवसरों को बढ़ाना, लोक कलाओं को प्रोत्साहन और वैचारिक आदान-प्रदान के लिए छत्तीसगढ़ में एक विश्व स्तरीय व्यवस्था का निर्माण करना भी है। सेवाग्राम में प्रस्तावित ‘विजिटर्स सेंटर’ सीखने, निर्वाह करने और गांधी के सिद्धांतों का स्मरण करने का केंद्र होगा। इस आश्रम का निर्माण मिट्टी, चूना, पत्थर जैसी प्राकृतिक वस्तुओं का उपयोग करते हुए किया जाएगा।

लोक शिल्पों से परिचित होंगे पर्यटक

अधिकारियों ने बताया, छत्तीसगढ़ अपनी विशिष्ट कला और शिल्प के लिए जाना जाता है। छत्तीसगढ़ के बस्तर, रायगढ़ और अन्य जिलों में बेलमेटल, लोहा, टेराकोटा, पत्थर, कपड़े और बांस का उपयोग करके विभिन्न कलात्मक वस्तुओं का निर्माण होता है। सेवाग्राम एक ऐसा स्थान होगा जहां पर्यटक, स्थानीय कला और शिल्प, व्यंजनों के बारे में जान सकेंगे। अपनी जानकारियों और अनुभवों को साझा कर सकेंगे। यहां एक ओपन थियेटर भी होगा, जहां सांस्कृतिक कार्यक्रम आयोजित किए जाएंगे।