राज्य बनने के बाद पहली बार ईएनटी विभाग में हुई सर्जरी, अब तक ऑपरेशन नहीं होने पर अस्पताल अधीक्षक ने भी उठाए सवाल

Chhattisgarh Crimes

बताया जा रहा है कि ढर्रे पर चली आ रही व्यवस्थाओं में जब यहां सुधार किया गया तो ओपीडी आने वाले मरीजों की तादाद भी तेजी से बढ़ गई। दो माह में यहां 200 मरीज इलाज कराने पहुंचे।

इस मामले में जिला अस्पताल अधीक्षक पी के गुप्ता ने कहा कि इसके पहले जो डॉक्टर थे उन्होंने ऑपरेशऩ क्यों नहीं किया, ये नहीं बता सकता? जहां चाह होती है वहां राह मिल ही जाती है।

मरीज का ऑपरेशन करने वाली डॉ नीति ने बताया कि मरीज 21 साल की लड़की है। दोनों कानों से पस बहने की परेशानी थी पिछले कई सालों से दोनों कान के पर्दे में छेद था। बांया कान में ज्यादा परेशानी थी, आज उसका आपरेशन किया गया। माईक्रोस्कोप से ऑपरेशऩ एक से डेढ़ घंटा चला, ऑपरेशन सफल रहा है। दो दिन निगरानी में रखने के बाद डिस्चार्ज किया जाएगा। दूसरे कान का ऑपरेशन तीन से चार माह बाद किया जाएगा।