छत्तीसगढ़ के बड़े हिस्से में शुक्रवार को होगी बरसात, एक-दो स्थानों पर वज्रपात की भी संभावना

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रायपुर। कुछ सप्ताह के मानसून ब्रेक के बाद फिर से वर्षा के दिन फिर से लौट आए हैं। शुक्रवार को प्रदेश के बस्तर और दुर्ग संभाग के जिलों में भारी वर्षा की संभावना बन रही है। एक-दो स्थानों पर वज्रपात की भी आशंका है। बताया जा रहा है कि कल प्रदेश के अनेक स्थानों पर हल्की से मध्यम स्तर की बरसात होने की संभावना है।

रायपुर मौसम विज्ञान केंद्र के विज्ञानी एच.पी. चंद्रा ने बताया, एक निम्न दाब का क्षेत्र पश्चिम-मध्य बंगाल की खाड़ी और उससे लगे पूर्व- मध्य बंगाल की खाड़ी के ऊपर स्थित है। इसके अगले 48 घंटे में और प्रबल होकर पश्चिम-मध्य बंगाल की खाड़ी और उससे लगे उत्तर-पश्चिम बंगाल की खाड़ी-उत्तर तटीय आंध्रप्रदेश-दक्षिण तटीय ओडिशा के ऊपर पहुंचने की संभावना है। वहीं मानसून द्रोणिका जैसलमेर, भोपाल, गोंदिया, जगदलपुर, कलिंगपटनम, और उसके बाद पूर्व-दक्षिण-पूर्व की ओर निम्न दाब के केंद्र तक, माध्य समुद्र तल पर स्थित है। इसके प्रभाव से 9 सितम्बर को प्रदेश में अनेक स्थानों पर हल्की से मध्यम वर्षा होने अथवा गरज-चमक के साथ छींटे पड़ने की संभावना है। प्रदेश में एक-दो स्थानों पर गरज-चमक के साथ वज्रपात होने तथा भारी वर्षा होने की भी संभावना बन रही है। मौसम विज्ञानियों के मुताबिक भारी वर्षा का क्षेत्र मुख्य रूप से दक्षिण छत्तीसगढ़ रहने की संभावना है। मौसम विज्ञानियों का कहना है, कुछ दिनों की छिटपुट बरसात के बाद भारी वर्षा का एक दौर और आएगा।

वर्ष 2021 में 10 से 15 सितम्बर के बीच भारी वर्षा के बाद प्रदेश में बाढ़ आ गई थी। रायपुर के अधिकांश हिस्से में जलभराव हुआ। वहीं कई महत्वपूर्ण राजमार्गों पर बाढ़ की वजह से यातायात को रोक देना पड़ा। 14 सितम्बर को 24 घंटे में 101 मिलीमीटर से अधिक पानी बरसा। यह रायपुर में पिछले 10 साल के दौरान सितम्बर में हुई सबसे अधिक बारिश थी। रायपुर में सितम्बर महीने की सबसे अधिक बरसात 1980 में दर्ज की गई थी। उस साल 19 सितम्बर को 24 घंटे में 196 मिलीमीटर पानी बरसा था।