एक अक्टूबर से बढ़ेगी मजदूरी; श्रम आयुक्त ने औद्योगिक,कृषि श्रमिकों का महंगाई भत्ता बढ़ाया, एक अकुशल मजदूर की भी दिहाड़ी 393 रुपए होगी

Chhattisgarh Crimes

रायपुर। छत्तीसगढ़ में श्रम आयुक्त ने मजदूरों के महंगाई भत्ते की नई दर तय कर दी है। इसका फायदा अक्टूबर महीने से मिलने लगेगा। जिन मजदूरों पर यह लागू होगा उनमें अनुसूचित क्षेत्रों में कार्यरत औद्योगिक श्रमिक, कृषि श्रमिक, अगरबत्ती निर्माण और बीड़ी निर्माण में लगे श्रमिक शामिल हैं।

अधिकारियों ने बताया, औद्योगिक सूचकांक के अनुसार जनवरी 2022 से जून 2022 के मध्य हुई वृद्धि के आधार पर औद्योगिक श्रमिकों का मंहगाई भत्ते में प्रतिमाह 160 रुपए की वृद्धि हुई है। वहीं कृषि श्रमिकों के मंहगाई भत्ते में प्रतिमाह 150 रुपए की वृद्धि की गई है। अगरबत्ती निर्माण श्रमिकों को एक हजार अगरबत्ती बनाने पर चार पैसा और बीड़ी श्रमिकों को एक हजार बीड़ी बनाने पर 4.25 रुपए की वृद्धि की गई है। यह दरें एक अक्टूबर 2022 से 31 मार्च 2023 तक के लिए हैं। न्यूनतम मजदूरी दरों के अनुसार श्रमिकों को बढ़ी हुई दरों पर मजदूरी अब एक अक्टूबर 2022 में मिलेगी।

रोजगार के लिए अधिसूचित सामान्य क्षेत्रों में अकुशल श्रमिकों को जोन ‘अ’ में प्रतिदिन 393 रुपए मजदूरी मिलनी है। जोन ‘ब’ के 383 रुपए और जोन ‘स’ के लिए 373 रुपए मजदूरी प्रतिदिन मिलेगी। अर्द्धकुशल श्रमिकों को जोन ‘अ’ के लिए 418 रुपए, जोन ‘ब’ के लिए 408 रुपए और जोन ‘स’ के लिए 398 रुपए प्रतिदिन की मजदूरी तय हुई है। वहीं कुशल श्रमिको को जोन ‘अ’ के लिए 448 रुपए, जोन ‘ब’ के लिए 438 रुपए और जोन ‘स’ के लिए 428 रुपए प्रतिदिन की दर से मजदूरी का भुगतान करना होगा। इसी तरह से उच्च कुशल श्रमिकों को अगले महीने से जोन ‘अ’ में 478 रुपए, जोन ‘ब’ में 468 रुपए और जोन ‘स’ में 458 रुपए प्रतिदिन मजदूरी मिलनी है।

कृषि मजदूरों को 273 रुपए की दिहाड़ी

श्रम आयुक्त ने कृषि मजदूरों के लिए 273 रुपए प्रतिदिन की दर से न्यूनतम मजदूरी दर तय की है। पिछले साल तक कृषि मजदूरी की दर 262 रुपया प्रतिदिन थी। एक अप्रैल 2022 से इसे बढ़ाकर 268 रुपया प्रतिदिन किया गया था।

यहां जोन “अ’, “ब’ और “स’ में ये क्षेत्र आते हैं

श्रम आयुक्त कार्यालय के मुताबिक जोन “अ’ में रायपुर, दुर्ग, भिलाई, भिलाई-चरोदा और बीरगांव नगर निगम और उसके 16 किमी तक का दायरा आता है। इसके साथ ही प्रदेश के सभी औद्योगिक क्षेत्र, औद्योगिक विकास केंद्र, नवा रायपुर विकास प्राधिकरण का क्षेत्र भी आता है। इसमें प्रदेश के ऐसे सभी कारखाने आते हैं, जिनमें कारखाना अधिनियम के तहत 300 या उससे अधिक श्रमिकों के लिए लाइसेंस लिया गया है। जोन “ब’ में राजनांदगांव, बिलासपुर, कोरबा, रायगढ़, अंबिकापुर, जगदलपुर, चिरमिरी और धमतरी नगर निगम और उसके 8 किमी दायरे का क्षेत्र आता है। वहीं जोन “स’ इन दोनों से बाहर का पूरा क्षेत्र है।