
जानकारी के मुताबिक मृतक का नाम उमेश सिंह (19) है, जो बैलकोटा का रहने वाला था। मृतक के परिजनों ने पुलिस पर पीट-पीटकर मार डालने का आरोप लगाया है, जबकि पुलिस ने कहा कि आरोपी पहले से बीमार था। बीमारी की वजह से आरोपी की जान गई है।
जानिए क्या है पूरा मामला ?
दरअसल, 30-31 अक्टूबर 2025 की रात धनंजय ज्वेलर्स से 3.50 लाख रुपए कैश समेत 50 लाख के सोने-चांदी के ज्वेलरी की चोरी हुई थी। चोर पिकअप लेकर आए थे। चोरों ने दुकान का शटर उठाकर चोरी की थी। वारदात के बाद धनंजय ज्वेलर्स के मालिक ने शिकायत दर्ज कराई थी।
शिकायत के बाद SP वैभव बैंकर ने ASP विश्वदीपक त्रिपाठी के नेतृत्व में स्पेशल टीम का गठन किया। टीम ने सैकड़ों CCTV फुटेज खंगाले और तकनीकी मदद से आरोपियों की पहचान की। इसके बाद पुलिस ने मुख्य आरोपी शिव कुमार लांजा राम (18), सूरज सिंह (19), वेद सिंह (21) और सूर्या गिरी (19) को सीतापुर क्षेत्र से गिरफ्तार किया।
पुलिस ने बताया कि पूछताछ के दौरान आरोपियों ने चोरी की बात कबूल कर ली। उन्होंने बताया कि चोरी के गहने राजेश अग्रवाल (40), बादल दास (22), अजीत (25) और अंबिकापुर निवासी स्वर्ण महल ज्वैलर्स के संचालक रोशन सोनी (24) के हैं। रोशन सोनी को भी गिरफ्तार कर लिया गया है।
रोशन सोनी ने चोरी के सोने-चांदी को पिघलाकर अंबिकापुर के अन्य ज्वैलर्स को बेच दिया था। पुलिस ने सभी आठ आरोपियों को गिरफ्तार कर चोरी का पूरा माल बरामद कर लिया है। इसी गिरोह ने 22 अक्टूबर, 2025 को सूरजपुर में भी चोरी की थी। एक आरोपी अभी भी फरार है। उसकी तलाश की जा रही है।
पूछताछ के लिए हिरासत में लिया, सुबह-सुबह हो गई मौत
इसके बाद पुलिस ने बतौली थाना क्षेत्र के बैलकोटा निवासी उमेश सिंह (19) को भी हिरासत में लिया। कोतवाली थाने में उमेश सिंह को पूछताछ के लिए रखा गया था। इस दौरान पुलिस कस्टडी में उमेश सिंह की हालत बिगड़ गई।
इसके बाद आनन-फानन में उमेश को 9 नवंबर की सुबह 4.30 बजे जिला अस्पताल में भर्ती कराया गया, लेकिन डॉक्टर्स उमेश को मृत घोषित कर दिया। पुलिस का कहना है कि युवक को सुबह 4.20 बजे हॉस्पिटल में भर्ती किया गया था। 4.45 बजे उसकी मौत हो गई।
पुलिस के अनुसार वह सिकलसेल से पीड़ित था। मृतक उमेश सिंह को कई बार ब्लड भी चढ़ा था। थाने में चोरी के आरोपी की मौत के बाद हड़कंप मच गया है। एक साल पहले भी पुलिस कस्टडी में स्वास्थ्यकर्मी की मौत हो गई थी, जिससे लोगों ने थाने में हमला कर दिया था। अब थाने की सुरक्षा बढ़ा दी गई है।
मां बोली- बेटे को बीमारी नहीं थी
मृतक की मां ने कहा कि उनके बेटे को कोई बीमारी नहीं थी। पुलिस वाले बेटे को मारते मारते लाए हैं। उस दौरान उसके मुंह से खून निकल रहा था। साथ में 3-4 और भी लोग थे। सुबह बताया गया कि वह बीमार है। थोड़ी देर बाद पुलिस वालों ने बेटे की मौत की जानकारी दी।
मृतक की बहन ने कहा कि पुलिस ने थाने बुलाया, लेकिन भाई से मिलने नहीं दिया। दूसरे दिन देखे की भाई ठीक से चल नहीं पा रहा था। हमें सूचना दी कि आपका भाई हॉस्पिटल में एडमिट है, फिर सीधे मौत की जानकारी दी।
पुलिस बोली- युवक पहले से बीमार था
ASP विश्व दीपक त्रिपाठी ने कहा कि थाने लाने से पहले आरोपी की तबीयत ठीक नहीं थी। पहले भी उसका स्वास्थ्य ठीक नहीं रहता था। 1 साल में वह 10 बार हॉस्पिटल में एडमिट हुआ है। 2 बार उसे ब्लड चढ़ा है। जब उसे ठीक नहीं लगा तो तुरंत अस्पताल लेकर गए। जहां कुछ समय बाद उसकी मौत हो गई।