हरियाणा के पूर्व मंत्री गोपाल कांडा बरी हुए, एयर होस्टेस गीतिका के सुसाइड मामले में थे मुख्य आरोपी

Chhattisgarh Crimes

नई दिल्ली। साल 2012 के बहुचर्चित एयर होस्टेस गीतिका सुसाइड मामले में दिल्ली की राउज एवन्यू कोर्ट ने हरियाणा के पूर्व मंत्री गोपाल कांडा को बरी कर दिया है। कांडा के अलावा अरुणा चड्ढा को भी बरी किया गया है। बता दें कि गोपाल कांडा की एयरलाइंस में एयर होस्टेस के तौर पर काम कर चुकीं गीतिका ने 5 अगस्त, 2012 में अशोक विहार के अपने घर में फांसी लगाकर आत्महत्या कर ली थी।

दिल्ली की राउज एवेन्यू कोर्ट में पहुंचे गोपाल कांडा से इस फैसले पर प्रतिक्रिया पूछी गई तो उन्होंने हाथ जोड़ दिए। - Dainik Bhaskar

कौन हैं गोपाल कांडा?

साल 2012 में जब गीतिका सुसाइड केस सामने आया था तो गोपाल कांडा पूरे देश में चर्चित हुए थे। इसी दौरान उनके जीवन की कहानी भी सबके सामने आई थी। कांडा एक जमाने में खराब रेडियो-टीवी रिपेयर करने वाले मैकेनिक हुआ करते थे लेकिन बाद में उन्होंने एयरलाइंस शुरू की, विधायक बने और फिर हरियाणा के गृह राज्यमंत्री का पद हासिल किया।

गोपाल ने एयरलाइंस शुरू करने से पहले अपने भाई के साथ मिलकर जूते-चप्पल की एक दुकान खोली थी। दुकान में तरक्की के साथ गोपाल ने जूते बनाने की फैक्ट्री शुरू कर दी। गोपाल ने होटल, कैसिनो, प्रॉपर्टी डीलिंग, स्कूल-कॉलेज और लोकल न्यूज चैनल के व्यवसाय भी किए हैं।

साल 2009 में पहली बार बने थे विधायक

गोपाल कांडा सबसे पहले साल 2009 में निर्दलीय विधायक बने थे। इसके बाद वह भूपेंद्र सिंह हुड्डा की सरकार में गृह राज्यमंत्री बने। कांडा की तरक्की सबसे लिए एक अजूबा थी क्योंकि खराब रेडियो-टीवी रिपेयर करने से लेकर राज्य के ताकतवर शख्स के रूप में अपनी पहचान बनाना कोई आसान काम नहीं था। इसके लिए गोपाल कांडा के राजनेताओं और अधिकारियों से नजदीकी रिश्ते भी एक बड़ी वजह थे।