20 साल की महिमा साहू 2023 में 12वीं की टॉपर थी। राज्य में 6वां रैंक हासिल किया था। IAS की तैयारी कर रही थी। कलेक्टर बनना चाहती थी। वहीं, पोस्ट ऑफिस में सरकारी नौकरी भी कर रही थी। घटना सोमनी थाना इलाके की है।
जानिए पूरा मामला
जानकारी के अनुसार, भिलाई के अटल आवास जामुल की रहने वाली महिमा अपनी बहन और मोहल्ले के बाकी श्रद्धालुओं के साथ पैदल यात्रा में शामिल होकर मां बम्लेश्वरी के दर्शन के लिए डोंगरगढ़ जा रही थी। पैदल यात्रा का माहौल जयकारों से गूंज रहा था।
महिमा के मामा नितेश साहू ने बताया कि सोमवार रात 8:30 बजे वो अपनी छोटी बहन याचना के साथ पैदल डोंगरगढ़ दर्शन के लिए निकले थे। रास्ते में बेकाबू थार क्रमांक CG04 QC 8007 आते देख दोनों घबरा गए। इसी दौरान बहनों का हाथ छूट गया। थार ने महिमा को टक्कर मार दी।
हादसे में युवती गंभीर रूप से घायल हो गई। साथी श्रद्धालु तुरंत उसे उठाकर सेक्टर-9 अस्पताल भिलाई पहुंचे, जहां डॉक्टरों ने उसे मृत घोषित कर दिया।
थार लेकर भागा ड्राइवर, बाद में पकड़ाया
प्रत्यक्षदर्शियों के अनुसार हादसे के वक्त बड़ी संख्या में श्रद्धालु पैदल यात्रा पर थे। लोग “जय माता दी” के जयकारे लगाते हुए आगे बढ़ रहे थे। इसी बीच तेज रफ्तार थार महिमा को टक्कर मारकर फरार हो गया। मां बम्लेश्वरी के दर्शन के लिए हजारों लोग हर साल रायपुर, भिलाई, दुर्ग और आसपास के इलाके से पैदल यात्रा पर डोंगरगढ़ पहुंचते हैं।
पुलिस ने दर्ज किया मामला
घटना की जानकारी मिलते ही सोमनी पुलिस मौके पर पहुंची। फरार वाहन ड्राइवर के खिलाफ मामला दर्ज कर जांच शुरू की। पुलिस ने आसपास के CCTV कैमरे खंगाले। जिसमें थार का नंबर पता चला। नंबर की मदद से पुलिस ने ड्राइवर को पकड़ लिया है।
थार रायपुर के रहने वाले राजा सिंह के नाम रजिस्टर्ड है। पुलिस ने यह जानकारी नहीं दी है कि थार कौन चला रहा था। राजा सिंह को अरेस्ट किया गया है या ड्राइवर को गिरफ्तार किया गया है।
स्थानीय लोगों का कहना है कि हर साल बड़ी संख्या में भक्त पैदल यात्रा करते हैं, लेकिन सड़क सुरक्षा के पर्याप्त इंतजाम नहीं होते। श्रद्धालुओं ने मांग की है कि प्रशासन यात्रा के दौरान श्रद्धालुओं की सुरक्षा के लिए बैरिकेडिंग, पुलिस पेट्रोलिंग और वाहनों की गति नियंत्रण जैसी व्यवस्थाएं सुनिश्चित करे।
पोस्ट ऑफिस में नौकरी कर रही थी महिमा
महिमा कोंडागांव के पोस्ट ऑफिस में सरकारी नौकरी कर रही थी। वहां 4 घंटे ड्यूटी करने के बाद वह रोज 8 से 10 घंटे पढ़ाई करती थी। उसका लक्ष्य 2027 में कलेक्टर बनना था। महिमा के पिता ट्रक ड्राइवर हैं।
परिवार का कहना है कि महिमा का 16 घंटे का शेड्यूल था। वह दिन-रात मेहनत कर पढ़ाई करती थी। बुधवार सुबह 11 बजे पोस्टमॉर्टम होगा। परिजनों ने प्रशासन से मांग की है कि हादसे के आरोपी को जल्द से जल्द सजा दी जाए।