ट्रेनों की लेटलतीफी और रद्द होने से जनता परेशान

यात्री बोले- स्टेशन हाईटेक बनाने से पहले टाइमिंग सही करें

Chhattisgarh Crimes

रायपुर। देश के 508 रेलवे स्टेशनों की तस्वीर बदलने वाली है। जिनमें छत्तीसगढ़ के भी 7 स्टेशन शामिल हैं। लेकिन दूसरी तरफ कई ट्रेनें आए दिन मेंटेनेंस के नाम पर अचानक कैंसिल कर दी जा रही हैं। ट्रेनों की लेटलतीफी और रद्द होने से यात्री परेशान हैं। इस मामले को लेकर मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने पीएम मोदी को पत्र भी लिखा है।

प्रदेश से होकर गुजरने वाली मेल और बरौनी गोंडवाना और वैनगंगा जैसी ट्रेनें रविवार को कई घंटों की देरी से चली। इंटरसिटी एक्सप्रेस का भी बुरा हाल है। उत्तर भारत की ओर जाने वाली गोंदिया बरौनी एक्सप्रेस अपने तय समय से लगभग 6 घंटे देरी से चली।

यही हाल हावड़ा मुंबई सुपरफास्ट मेल का रहा। ये लगभग 4 घंटे देरी से चली। हजरत निजामुद्दीन से रायगढ़ तक चलने वाली गोंडवाना एक्सप्रेस भी ढाई घंटे की देरी से चली है। इधर मेंटेनेंस के चलते कई ट्रेनों को रद्द भी कर दिया गया है।

रायपुर रेलवे स्टेशन में ट्रेन का इंतजार करती फरजाना खान ने बताया कि वह जिस ट्रेन से सफर कर रहीं थीं वह 1 घंटे से ज्यादा लेट है और कई ट्रेन रद्द भी कर दी गई हैं। जिससे यात्रियों को असुविधा हो रही है।उन्होंने कहा, स्टेशनों को हाईटेक बनाना सही है। लेकिन इन्फ्रास्ट्रक्चर के साथ ही यात्रियों को सर्विसेज भी मिलनी चाहिए। इसलिए पहले ट्रेनों को रेगुलर और उनकी टाइमिंग सही करना ज्यादा जरूरी है।

यात्री राम सिंह का कहना है कि बहुत सारी ट्रेनें रद्द हैं और जो चल रही हैं उनकी भी टाइमिंग सही नहीं है। सुबह साढ़े 10 बजे की ट्रेन का टाइमिंग डेढ़ बजे बजे बता रहा है। स्टेशन में प्रभा ने बताया कि उनकी ट्रेन पहले कभी लेट नहीं हुई लेकिन आज वो भी एक घंटे से स्टेशन पर ट्रेन का इंतजार कर रही हैं।

आलेख शेट्टी ने बताया कि ट्रेनों का 1 से डेढ़ घंटा लेट होना तो अब सामान्य लगने लगा है। क्योंकि ट्रेनों की टाइमिंग ही इस तरह की हो गई है कि हर ट्रेन कम से कम 1 से डेढ़ घंटे लेट है। जिसे सुधारना जरूरी है।